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छत्तीसगढ़ प्रदेश का एक विश्वसनीय न्यूज पोर्टल है, जिसकी स्थापना देश एवं प्रदेश के प्रमुख विषयों और खबरों को सही तथ्यों के साथ आमजनों तक पहुंचाने के उद्देश्य से की गई है।
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कांकेर। कल लोकसभा चुनाव के लिए पहले चरण का मतदान होना है। ऐसे में चुनाव से पहले छत्तीसगढ़ में सुरक्षाबलों ने नक्सल विरोधी अभियान तेज कर दिया है। इसी कड़ी में मंगलवार को कांकेर के छोटे बेठिया थाना क्षेत्र के माड़ इलाके में सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई जिसमें 29 नक्सली मारे गए हैं। बड़ी बात ये है कि मारे गए इन 29 नक्सलियों में से 15 महिला नक्सली शामिल हैं। हाल के दिनों में महिला नक्सलियों की भूमिका बढ़ी है। मिली जानकारी के मुताबिक महिला नक्सलियों ने ही दंतेवाड़ा और बीजापुर की मुठभेड़ में बलिदान हुए सुरक्षाबलों के जवानों से हथियार एकत्र करके उनके पार्थिव शरीर को क्षतविक्षत करते देखी गई थीं।
#WATCH छत्तीसगढ़ के जंगलों के भीतर, कांकेर मुठभेड़ स्थल से एक ग्राउंड रिपोर्ट।
— ANI_HindiNews (@AHindinews) April 17, 2024
छत्तीसगढ़ में कांकेर के छोटे बेठिया थाना क्षेत्र अंतर्गत कल सुरक्षा बलों के बड़े नक्सल विरोधी अभियान में 29 नक्सली मारे गए। pic.twitter.com/gOlb5GSeYq
कांकेर जिले के छोटे बेठिया थाना क्षेत्र के माड़ इलाके में सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच ये मुठभेड़ हुई थी जिसमें 29 नक्सलियों के शव बरामद किए गए हैं। वहीं मुठभेड़ पर आईजी बस्तर पी सुंदरराज ने कहा कि सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई जो करीब 4 घंटे तक चली। डीआरजी और बीएसएफ की टीमों ने इलाके की घेराबंदी कर 29 नक्सलियों को मार गिराया। मारे गए नक्सलियों में 15 महिलाएं और 14 पुरुष थे। मौके से भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद बरामद किया गया है। वहीं माओवादियों के शवों का पोस्टमार्टम चल रहा है।
#WATCH | After the encounter broke out in Chhattisgarh's Kanker, the area was searched and huge quantities of arms and ammunition were also recovered. pic.twitter.com/bAQOiDklNe
— ANI (@ANI) April 17, 2024
मुठभेड़ में नक्सली कमांडर शंकर राव भी मारा गया था। बताया जाता है कि मारा गया खूंखार नक्सली शंकर राव पर 25 लाख रुपये का इनाम था। वहीं मारी गई महिला नक्सलियों में दो महिला नक्सली ललिता और मांडवी पर भी 25-25 लाख का इनाम था। शंकर राव, ललिता और मांडवी डीवीसी रैंक के लीडर थे।
नक्सल विरोधी अभियान पर निकले थे जवान
बीएसएफ और डीआरजी की टीमों द्वारा 16 अप्रैल को एक संयुक्त अभियान शुरू किया गया था। तभी माओवादी की तरफ से गोलीबारी हुई और बीएसएफ सैनिकों ने उनके खिलाफ प्रभावी ढंग से जवाबी कार्रवाई की। बता दें कि छत्तीसगढ़ दूसरा सबसे नक्सली प्रभावित राज्य है। गृह मंत्रालय के मुताबिक छत्तीसगढ़ के 14 जिले नक्सल प्रभावित हैं।
कांकेर में कब-कब मुठभेड़
16 अप्रैल से पहले कांकेर में 25 फरवरी को नक्सली एनकाउंटर में तीन नक्सली मारे गए थे। तीन मार्च को हिदूर में पुलिस-नक्सली मुठभेड़ में एक नक्सली मारा गया था। जबकि एक बस्तर फाइटर का जवान बलिदान हुआ था। वहीं 16 मार्च को भी मुठभेड़ में एक नक्सली मारा गया था।
बीएसएफ और डीआरजी ने मिलकर चलाया अभियान
छत्तीसगढ़ के कांकेर में नक्सलियों के खिलाफ बीएसएफ की विशिष्ट खुफिया जानकारी के आधार पर बीएसएफ और डीआरजी द्वारा एक संयुक्त अभियान शुरू किया गया था। ऑपरेशन में बड़ी सफलता मिली क्योंकि सैनिकों ने शीर्ष नक्सली कमांडर शंकर राव सहित 29 नक्सलियों को मार गिराया। बड़ी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद भी बरामद किया गया। सफल ऑपरेशन से नक्सलियों की रीढ़ तोडऩे में मदद मिलेगी और क्षेत्र में सामान्य स्थिति और विकास लाने के प्रयासों में काफी वृद्धि होगी।
कांकेर में एंटी-नक्सल ऑपरेशन पर बीएसएफ के डीआइजी वीएम बाला का कहना है कि बीएसएफ पुलिस की मदद के लिए यहां आई थी। यह बहुत अच्छा ऑपरेशन था। हमारी दोनों टीमों, डीआरजी और बीएसएफ ने ऑपरेशन को सफलतापूर्वक अंजाम दिया है। घायल बीएसएफ कर्मी खतरे से बाहर है और रायपुर में इलाज चल रहा है।