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Water Crisis: जीवनदायिनी नदी सूखी, 25 हजार लोगों पर गहराया जल संकट, जल संसाधन विभाग की बड़ी लापरवाही


बलरामपुर। बलरामपुर रामानुजगंज में जल संसाधन विभाग की बड़ी लापरवाही से आखिरकार क्षेत्र की जीवनदायिनी मानी जाने वाली कन्हर नदी सूख गई। नदी के सूखने से नगर की करीब 25 हजार की आबादी के सामने गंभीर जल संकट उत्पन्न होने लगा है। नगर पंचायत की जल प्रदाय व्यवस्था पूर्णता कन्हर नदी पर आश्रित है ऐसे में नगर पंचायत के द्वारा फोकलेन से बड़ा डबरी नदी में बनाया गया है परंतु यह भी ज्यादा दिन तक कारगर साबित नहीं होगा।

गौरतलब की 15 जून तक मानसूनी बारिश शुरू होगा जिसके बाद ही नदी में पानी आ पाएगा ऐसे में करीब 2 माह पूरे नगर वासियों को गंभीर जल संकट का सामना करना पड़ेगा यदि समय रहते जल संसाधन विभाग के द्वारा एनीकट के गेटों को सुधार दिया जाता तो इतना जल्दी पानी नहीं सूखता। जल संसाधन विभाग की लापरवाही का खामियाजा नगर की 25000 की आबादी को उठाना पड़ेगा जल संसाधन विभाग के द्वारा एनीकट के निर्माण में 9 करोड रुपए से अधिक राशि एवं मरम्मत में भी काफी राशि खर्च कर दी गई हैम परंतु एनीकट कभी भी नगरवासियों के उपयोग में नहीं आ पाया है। यह वरदान के जगह हमेशा अभीश्राप ही साबित हुआ है विभाग के अधिकारी यदि चाहते तो इसे उपयोग अनुकूल बना सकते थे। परंतु विभाग के अधिकारियों का कभी भी ध्यान इस ओर नहीं गया जिस कारण एनीकट कभी भी उपयोगी साबित नहीं हो पाया।

चार दिन मछली मारने वालों की लगी होड़
बीते चार दिनों से एनीकट का गेट खराब होने के कारण पानी निकलना शुरू हुआ तो एनीकट में मछली मारने वालों की भीड़ सुबह से लेकर पूरी रात तक ड्टी रही स्थिति यह रही की चार दिनों से 24 घंटे लोग नदी में मछली मारते देखे गए।

रेत निकालना है जरूरी
एनीकट का जहां गेट खराब है वहीं एनीकट करीब 6 फीट से लेकर 10 फीट तक रेत भर गया है जिस कारण एनीकट का स्टोरेज भी काफी कम हो गया है ऐसे में दो माह का समय जल संसाधन विभाग एवं खनिज विभाग के पास है दोनों विभाग समन्वय स्थापित करके चाहे रेत निकालकर इसे उपयोगी बना सकते हैं।

नगर पंचायत अध्यक्ष रमन अग्रवाल ने कहा कि कन्हर नदी का सुख जाना हम सबके लिए काफी चिंता का विषय है कन्हर की स्थिति को देखते हुए इंटक वेल के समीप डबरी का निर्माण कराया गया है। प्रयास है कि किसी भी स्थिति में नगर में नियमित जलप्रदाय व्यवस्था सुचारू रूप से संचालित होते रहे। श्री अग्रवाल ने कहा कि जल संसाधन विभाग के पास समय है वह चाहे तो एनीकट के गेट को सुधार सकता है वही ड्रीम स्ट्रीम का फर्श जो अधूरा है उसे भी पूरा कर सकता है।